AKS University
AKS University, Satna M.P.
एकेएस यूनिवर्सिटी, सतना के ‘‘फार्मेसी विभाग’’ के विद्यार्थी जबलपुर के ‘‘ग्वाफा फार्मास्यूटिकल्स’’ की एक दिवसीय इन्डस्ट्रियल एज्यूकेशनल विजिट करेगे । विद्यार्थी यहां ‘‘ग्वाफा फार्मास्यूटिकल्स’’ में मेडिसिन प्रोसेसिंग, प्रोडक्शन , पैकेजिंग, क्वालिटी कंट्रोल, क्वालिटी एश्योरेंश, रिसर्च लेबोरेटरी, के बारे मे जानकारी प्राप्त करेंगे विजिट के दौरान विद्यार्थियों का मार्गदशन फार्मेशी विभागाध्यक्ष सूर्यप्रकाश गुप्ता एवं प्रभाकर तिवारी करेंगे।
मीडिया विभाग
एकेएस विश्वविद्यालय,सतना
एकेएस विश्वविद्यालय में छात्रों के उत्तरोतर विकास के लिए वि. वि में स्थापित लाईब्रेरी को हाईटेक करने के लिए डेलनेट (डेवलपिंग लाइब्रेरी नेटवर्क )की सदस्यता ली गई है। इस बात की जानकारी देते हुए लाईब्रेरी विभागाध्यक्ष दशरथ पाटीदार ने बताया कि लाईब्रेरी के हाईटेक होने का लाभ विद्यार्थियों के साथ - साथ फैकल्टी मेम्बर्स को भी मिलेगा। इसके माध्यम से छात्र ई- बुक , आर्टिकल आईएलएल (इन्टर लाइब्रेरी लोन) की तरह प्राप्त कर सकते है। डेलनेट से विद्यार्थी एवं रिसर्च स्काॅलर अपने शोधकार्य को आसानी से करने के साथ अपने रिसर्च वर्क को बेहतरीन गति प्रदान कर सकते है। साथ ही छात्र ई- जर्नल्स, ई- बुक , मल्टीमीडिया डाटाबेस, थिसिस, डिर्जटेसन, डिजिटल लाइब्रेरी, एक्सेस कर सकते है। इसी कडी़ मे वि. वि. ने इन्फ्लिबनेट सेंटर (इनफार्मेशन लाइब्रेरी नेटवर्क) के साथ एम. ओ. यू पर हस्ताक्षर किए है। जिससे विद्यार्थी और फैकल्टी ई- बुक प्राप्त कर सकतें हैं वि. वि. के विद्यार्थी सुविधा का अधिकतम् लाभ ले रहे है।
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एकेएस विश्वविद्यालय, सतना
बैंचलर इन फार्मेसी एवं बायोटेक्नालाॅजी के पाठ्यक्रमों में प्रायोगिक कार्यो के लिए विश्वविद्यालय द्वारा अत्याधुनिक ‘‘एनीमल हाउस लैबोरेटरी’’ का निर्माण करवाया गया है। जिसका प्रारम्भिक निरीक्षण सी.पीसीएसईए, नई दिल्ली के नाॅमिनी डाॅ. एस.सी. दुबे जो कि आई.सी.ए.आर के कन्सलटेन्ट एवं पूर्व संयुक्त संचालक, नेशनल इंस्टीट्यूट आॅफ हाई सिक्योरिटी एनीमल डिसिजेज द्वारा 22 जून को किया गया।
डाॅ. दुबे द्वारा विश्वविद्यालय की इस आधुनिक लैब में जाकर समस्त व्यवस्थाओ का अवलोकन किया गया एवं व्यवस्था के सम्बन्ध में अपना संतोष व्यक्त किया। ज्ञातव्य है कि फार्मेसी के अंतर्गत मानव हित के विविध परीक्षण, एवं औषधीय परीक्षण किये जाते है। औषधीय परीक्षण जो मानव के लिए लाभकारी हो सकते है, इसे प्रथमतः कुछ चुने हुए एनीमल पर ट्रायल के रूप में किया जाता है। यह प्रयोग विशेषतः चूहों एवं खरगोश पर किये जाते है। इनके अनुकूल एवं प्रतिकूल प्रभाव के आधार पर औषधियों का निर्माण लैब में किया जाता है।
विश्वविद्यालय द्वारा इस प्रकार परीक्षणों को सफलता पूर्वक करने के लिए छात्रों की आवश्यकता के अनुरूप यह निर्माण कार्य सी.पी.सी.एस.ई.ए, नई दिल्ली के मापदंडों के आधार पर किया गया।
‘‘एनीमल हाउस लैब’’ का सम्पूर्ण निरीक्षण का दायित्व फार्मेसी विभागाध्यक्ष प्रो. सूर्य प्रकाश गुप्ता एंवं फार्मेसी के फैकल्टीज अंकुर अग्रवाल, प्रियंका गुप्ता के मार्गदर्शन में सम्पन्न हुआ। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के कुलपति डाॅ पारितोष के. बानिक, चेयरमैन इंजी. अनंत कुमार सोनी, प्रतिकुलपति डाॅ0 हर्षवर्धन, प्र्रतिकुलपति डाॅ. आर.एस. त्रिपाठी, ओएसडी प्रो. आर.एन. त्रिपाठी, डीन डाॅ. आर.पी.एस. धाकरे द्वारा इस लैब के निर्माण के एवं प्रमाणिकता के लिए फार्मेसी विभाग को बंधाई दी है।
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एकेएस विश्वविद्यालय, सतना
एकेएस विश्वविद्यालय के माइनिंग संकाय विद्यार्थी ट्रेनिंग के लिए साउथ ईस्टर्न कोल फील्ड लिमि. कार्यालय बिलासपुर में पै्रक्टिकल अध्ययन प्राप्त कर रहे हैं। विद्यार्थियों का प्रशिक्षण 28 दिवसीय है। विद्यार्थी जे एण्ड के, बैकुण्ठपुर, चिरमिरी, जोहिला, कोरबा, सोहागपुर, बिलासपुर छत्तीसगढ़ में प्रेक्टिकल ट्रेनिंग करेंगे। इस बात की जानकारी देते हुए एकेएसयू के माइनिंग डीन डाॅ. जी.के. प्रधान ने बताया कि विद्यार्थी एसईसीएल की खदान एवं इकाइयों मे कार्य करेंगे।
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एकेएस विश्वविद्यालय, सतना
सतना। एकेएस विश्वविद्यालय में मध्यप्रदेश वाटर सेक्टर रिस्ट्रक्चरिंग वल्र्ड बैंक के प्रोजेक्ट के तहत जल उपभोक्ता संथा के द्वारा किसानों को जागरुक करने के लिये प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया। जिसमें वाटर एण्ड लैंड मैनेजमेंट भोपाल के मास्टर ट्रेनर ज्ञान मिश्रा एवं कृषि विशेषज्ञ रघुवीर अहिरवार ने किसानों को नहरों के रखरखाव, प्रक्षेत्र के अवलोकन एवं समस्याओं के निराकरण संबंधी विस्तृत तकनीकी जानकारियां दीं। प्रशिक्षण कार्यक्रम में 10 टीसी मेंबर्स एवं आसपास के क्षेत्रीय किसानों के अलावा सब इंजीनियर्स की टीम ने हिस्सा लिया।
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एकेएस विष्वविद्यालय, सतना