कोई भी पेंड,जीव जंतु प्रकृति में अनुपयोगी नहीं है,सभी जैवविविधता के अहम पहलू-डाॅ.रामलखन शिकरवार,एकेएसयू
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कोई भी पेंड,जीव जंतु प्रकृति में अनुपयोगी नहीं है,सभी जैवविविधता के अहम पहलू-डाॅ.रामलखन शिकरवार,एकेएसयू
म.प्र.राज्य जैव विविधता बोर्ड भोपाल एवं एकेएस वि.वि. के तत्वावधान में आयोजित हुआ कार्यक्रम
सतना। म.प्र.राज्य जैव विविधता बोर्ड भोपाल एवं एकेएस वि.वि. सतना के तत्वावधान में जैव विविधता पर जनपद पंचायत नागौद में एक बृहद सह प्रशिक्षण एवं बैठक का आयोजन किया गया कार्यक्रम की अध्यक्षता जनपद पंचायत कार्यपालन यंत्री श्रीमती कामना यादव ने की उन्होंने कहा कि हमारे देश में बडी विविधता है दस कोस में पानी और वाणी तक बदल जाती है ऐसे ही हमारा प्रदेश प्रचुर प्रकृति संपदा से भरपूर है हमारा देश केन्द्र है उच्च मानकों का। इस मौके पर जैवविविधता पंजी निर्माण के प्रिंसिपल इन्वेस्टीगेटर एकेएस वि.वि.सतना के इन्वायर्नमेंट विभाग में कार्यरत प्रो.डाॅ.रामलखन सिंह सिकरवार ने जैवविविधता के अनेकानेक एवं विविध पहलुओं पर सारगर्भित जानकारी साक्ष्य के साथ पीपीटी प्रजेन्टेशन के माध्यम से साझा की। तथ्यपरक और रोचक जानकारियों का जब क्रम उन्होने बनाया तो उपस्थित जनों ने तालियों से उनका उत्साहवर्धन किया वह लोक जैवविविधता पंजी निर्माण के कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। प्रो.शिकरवार ने कहा कि प्रकृति में शामिल कोई भी पेंड-पौधा-जीव जंतु कतई अनुपयोगी नहीं है बल्कि उसका जैवविविधता में अहम स्थान है उन्होंने कहा कि हमारा देश 17 जैवविविधता संपन्न विश्व के राष्ट्रों में शामिल है हमारी परंपरागत फसलें,बारिश अब वनों की कटाई,फसलों को जलाने,पानी के श्रोतों से छेडछाड,जंगलों को नष्ट करने से असंतुलित हो रही है। कार्यक्रम में म.प्र.राज्य जैव विविधता बोर्ड भोपाल के प्रबंधक डाॅ.बकुल लाड ने कहा कि हमारे पारंपरिक ज्ञान और जैवविविधता का विदेशी कंपनियों ने पेटेन्ट करा लिया है अब इससे बचने के लिए उस्तावेजीकरण करना जरुरी है। आभार प्रदर्शन बिजेन्द्र प्रताप सिंह,खन्ड विकास अधिकारी,नागौद ने किया कार्यक्रम में तकनीकी विशेषज्ञ डाॅ.गौरव सिंह रहे।एकेएस वि.वि. के डाॅ.रामचंद्र त्रिपाठी ने भी इस अवसर पर शानदार प्रस्तुतिकरण दिया और जैवविविधता पर परिपूर्ण जानकारी दी।