उच्च शिक्षा में रिसर्च एवं नवाचार की महती आवश्यकता: डाॅ. अखिलेश पाण्डेय, अध्यक्ष निजी वि.वि. विनियामक आयोग एकेएस वि.वि. में उन्होंने डीन, डायरेक्टर्स, फैकल्टीज को किया सम्बोधित
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सतना। एकेएस विश्वविद्यालय सतना के सभागार में डाॅ. अखिलेश पाण्डेय, अध्यक्ष निजी वि.वि. विनियामक आयोग ने कहा कि उच्च शिक्षा में आज आवश्यक हो गया है कि समाज की आवश्यकताओं के अनुरूप अधिक से अधिक अनुसंधान कार्य युवा प्राध्यापकों को वि.वि. स्तर पर करना चाहिये। आज शिक्षक से यह अपेक्षा की जाती है कि समाज की आवश्यकताओं के अनुरूप अनुसंधान का लाभ समाज को मिलना चाहिये जो कि उच्च शिक्षा का प्रमुख उद्देश्य है। उक्त उद्गार देते हुए उन्होंने कहा कि विश्व में विज्ञान के क्षेत्र में जो भी महत्वपूर्ण उपलब्धियां प्राप्त हुई हैं वह वैज्ञानिकों की पैनी दृष्टि और चिन्तन का परिणाम है जिससे आज की मूलभूत समस्याओं का समाधान हो सका है। इस विषय पर उन्होंने कहा कि मेडिसिन के क्षेत्र में पेनिसिलिन और रसायन शास्त्र के क्षेत्र में हुआ अविष्कार मील का पत्थर साबित हुआ है। उन्होंने कहा कि शिक्षक को न सिर्फ अपने ज्ञान से विद्यार्थियों लाभान्वित करना चाहिये बल्कि देश व समाज के हित में नये अनुसंधान में प्रवृत्त होकर एकेएस वि.वि. का नाम रोशन करना चाहिये। इस अवसर पर उन्होंने एकेएस वि.वि. की अल्प समय में प्राप्त उपलब्धियों का भी जिक्र किया और कहा कि यह वि.वि. उम्मीदों के अनुरूप म.प्र.के सर्वश्रेष्ठ निजी विश्वविद्यालयों में स्थापित हो चुका है और इसे कई अवार्ड भी इसीलिये प्राप्त हुए हैं क्योंकि यहां पर नवाचार बेहतर तरीके से सम्पादित किये जा रहे हैं। इस मौके पर एकेएस वि.वि. के कुलपति प्रो. पारितोष के. बनिक ने गुणात्मक शिक्षा एवं पाठ्यक्रमों के बेहतर तरीके से अध्ययन अध्यापन हेतु शिक्षकों का आह्वान किया। इस भव्य कार्यक्रम में वि.वि. के चेयरमैन अनंत कुमार सोनी, प्रतिकुलपति डाॅ. हर्षवर्धन, डाॅ. आर.एस. त्रिपाठी, डाॅ. जी.सी. मिश्रा, डाॅ. एस.एस. तोमर, डाॅ. आर.एस. पाठक, इंजी. आर.के. श्रीवास्तव के साथ सभी संकाय के डीन, डायरेक्टर्स एवं फैकल्टीज की उपस्थिति उल्लेखनीय रही। कार्यक्रम का सफल संचालन डाॅ. आर.एन. त्रिपाठी ने किया।