एकेएस विश्वविद्यालय के सभागार में ‘‘बायोडायवर्सिटी‘‘ पर व्याख्यान प्रकृति को पहचानिए व उसके साथ चलिए - डाॅ. राजेश सक्सेना
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सोमवार को एकेएस विश्वविद्यालय के सभागार में मैपकास्ट, भोपाल के डाॅ. राजेश सक्सेना ने एग्रीकल्चर, फार्मेसी, बाॅयोटेक के छात्रों के समक्ष ‘‘बाॅयोडायवर्सिटी’’ एवं उसके विभिन्न आयामों पर व्याख्यान दिया। डाॅ. सक्सेना ने बाॅयोडायवर्सिटी, इंम्पोर्टेन्स और जैवविविधता की खूबसूरती पर रोचक दृष्टान्तों के माध्यम से विस्तार से जानकारी दी। डाॅ. सक्सेना ने बाॅयोडायवर्सिटी के विभिन्न घटकों पर प्रकाश डालते हुए एलोवेरा, ब्राम्ही, शंखपुष्पी, अश्वगंधा, सर्पगंधा, लेमन ग्रास, यूकेलिप्ट्स और हरश्रृंगार के आयुर्वेदिक पहलुओं और दादी-नानी के नुस्खें भी बताए। प्लांट टिश्यू कल्चर पर प्रकाश डालते हुए उन्होने फूड चेन की विविधता को भी पारिभाषित किया। बाॅयोडायवर्सिटी का कान्जर्वेशन एक इमंर्जिग क्षेत्र है टिश्यू कल्चर लैब्स के विकास से स्वरोजगार के क्षेत्र उन्नत होंगें ,यूथ कोआॅपरेटिव्स बना सकते हैं। मैपकाॅस्ट के उद्देश्यों को उल्लेखित करते हुए उन्होंने कहा कि नागरिकों को टेक्निकली साउण्ड करना मैपकाॅस्ट का उद्देश्य है। इसी कड़ी में छात्रों को फाइनेन्सियल सपोर्ट देने के साथ बेस्ट साइंटिस्ट एवार्ड 25 विधाओं में मैपकास्ट द्वारा प्रदान किए जाते हैं और चयनित सर्वश्रेष्ठ पेपर्स को 25 हजार पुरुस्कार की नगद राशि प्रदान की जाती है। उन्हांेने सीएसआर काॅन्सेप्ट,मशरूम की खेती,सोशियो कल्चरल अपलिफ्टमेंट, सेटेलाइट डेटा, प्रकृति की छटा, वैल्यूएडीशन के साथ विंध्य क्षेत्र में मेडिसनल प्लांट की प्रचुरता के बारे में कहा कि रीजन की बायोडायवर्सिटी को संवर्धित किया जाना आवश्यक है। गौरतलब है कि डाॅ. सक्सेना, ‘‘डिपार्टमेन्ट आॅफ साइंस टेक्नालाॅजी गवर्नमेन्ट आॅफ मध्यप्रदेश‘‘ के प्रिंन्सपल साइंटिस्ट और इंचार्ज है। विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो.पी.के. बनिक द्वारा डाॅ. सक्सेना को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के चेयरमैन अनंत कुमार सोनी, प्रतिकुलपति डाॅ. हर्षवर्धन, ओ.एस.डी. प्रो. आर.एन. त्रिपाठी, डीन डाॅ. आर.पी.एस. धाकरे, डाॅ. नीरज वर्मा, डाॅ. कमलेश चैरे, सूर्यप्रकाश गुप्ता के साथ बाॅयोटेक फार्मेसी एवं एग्रीकल्चर के छात्र-छात्राएँ उपस्थित रहे।
मीडिया विभाग
एकेएस विश्वविद्यालय सतना