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एकेएस वि. वि. सतना के सभागार में संविधान दिवस के अवसर पर एक बृहद संगोष्ठी का आयोजन किया गया। उल्लेखनीय है कि म.प्र. के माननीय राज्यपाल श्री लालजी टंडन के निर्देशानुसार 26 नवंबर को संविधान अंगीकरण दिवस की 70 वीं वर्षगाॅठ समारोहपूर्वक मनाए जाने का आदेश प्राप्त हुआ था। इसी कडी में वि.वि. में संविधान दिवस की 70 वीं वर्षगाॅठ समारोहपूर्वक मनाई गई। इस मौके पर अतिथियों ने बताया कि संविधान सभा के अध्यक्ष डाॅ.राजेन्द्र प्रसाद थे। भारत गणराज्य का संविधान 26 नवंबर 1949 को बनकर तैयार हुआ। संविधान सभा के प्रारुप समिति के अध्यक्ष डाॅ.भीमराव अंबेडकर के 125वें जयंती वर्ष के रुप में 26 नवंबर 2015 को पहली बार संविधान दिवस मनाया गया। संविधान सभा ने भारत का संविधान 2 वर्ष, 11 माह और 18 दिनों में तैयार किया और राष्ट्र को समर्पित किया। गणतंत्र भारत में 26 जनवरी 1950 से संविधान अमल में लाया गया इसकी प्रस्तावना में कहा गया है कि हम भारत के लोग भारत को एक संपूर्ण प्रभूत्व संपन्न,समाजवादी, पंथनिरपेक्ष,लोकतंत्रात्मक गणराज्य बनाने के लिए तथा उसके समस्त नागरिकों को सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक, न्याय, विचार, अभिव्यक्ति, विश्वास, धर्म और उपासना की स्वतंत्रता, प्रतिष्ठा और अवसर की समता प्राप्त करने के लिए तथा उन सबमें व्यक्ति की गरिमा और राष्ट्र की एकता और अखन्डता सुनिश्चित करने, बंधुत्व बढाने के लिए दृढ संकल्पित होकर  अपनी संविधान सभा में 26 नवंबर 1949 ,मिति मार्गशीर्ष,शुक्ल सप्तमी,संवत दो हजार छः विक्रमी को इस संविधान को अंगीकृत,अधिनियमित और आत्मार्पित करते हैं। भारत सरकार द्वारा पहली बार 2015 से इसे मनाना प्रारंभ किया। डाॅ. अंबेडकर के इस महान योगदान को याद करते हुए 26 नवंबर को संविधान दिवस मनाया गया और फैकल्टी आमिर हसीब सिद्वीकी,प्रो.राजीव बैरागी,आर.सी.त्रिपाठी ने अपने विचार व्यक्त किए। अंत में ओएसडी प्रो.आर.एन.त्रिपाठी ने संविधान के प्रति निष्ठा की सामूहिक शपथ दिलाई। भारतीय संविधान सभा में महिलाओं की संख्या 15 थी। इसमें वि.वि. के प्रतिकुलपति डाॅ.हर्षवर्धन, ओएसडी प्रो.आर.एन.त्रिपाठी, डाॅ.जी.पी.रिछारिया के साथ वि.वि. के समस्त संकाय के डीन, डायरेक्टर्स, फैकल्टीज और छात्र-छात्राऐं उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन डाॅ.दीपक मिश्रा ने किया।