सतना। प्रकृति को बचाने के लिए सभी मनुष्य को वृक्ष लगाना जरूरी है। प्रत्येक बच्चे को प्रकृति पर मंडरा रहे खतरे के बारे में जानकारी होनी चाहिए। बच्चे प्रकृति के प्रति जागरूक होंगे तो वे अपने माता.पिता व अन्य संबंधी को भी पौधे लगाने के लिए राजी कर सकेंगे। प्रकृति व जल संरक्षण में बच्चों की भूमिका अहम है। प्रकृति व जल संरक्षण में बच्चों की भूमिका अहम है। ये बातें ऐ के एस विश्वविद्यालय के रावे समन्वयक सात्विक बिसारिया ने कही। सोमवार को आमदरी स्थित प्राथमिक स्कूल प्रांगण में आयोजित पौधरोपण सह जलसंरक्षण कार्यक्रम में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि स्वच्छ आक्सीजन व पानी को आबाद रखने के लिए एक.एक व्यक्ति को पौधे लगाने व उसे बचाने के लिए संकल्प लेना होगा।विद्यालय प्रबंधन जल संरक्षण व पौधरोपण अभियान बड़े स्तर पर कर रही है। अभियान पांच चरणों में चलाया जाएगा। ग्रामीणों को भी जल संरक्षण एवं वृक्षारोपण के लिए अभियान चलाकर जागरूक करने का काम ऐ के एस विश्वविद्यालय व ग्राम सरपंच मिलकर करेगे। प्राचार्य ने कहा कि पेड़.पौधे आधुनिक युग में धरती पर ब्रह्माए विष्णु व महेश के दूसरे रूप हैं। समुंद्र मंथन के दौरान प्राप्त विषों को ग्रहण कर शंकर भगवान ने ब्रह्मांड के जीव.जंतुओं की रक्षा राक्षसों से थी। मानव के विभिन्न गतिविधियों के द्वारा उत्सर्जित विष रूपी हानिकारक गैसों को पेड़.पौधे ग्रहण कर आधुनिक युग में संपूर्ण जीव जगत की रक्षा करते हैं। मानव सभ्यता को सुरक्षित रखना है तो पेड़.पौधों के महत्व को समझना होगा। धरती पर अधिक से अधिक पेड़ लगाना होगा।मौके पर रावे के छात्र मुकेशए परमेश्वरए खिलेंद्रए आशीषएदेवेंद्रएसुमेशएआशीष पटलेए प्रकाशएअर्पित ने स्कूल परिसर में समन्वयक सात्विक बिसारिया व प्राचार्य व अन्य शिक्षक.शिक्षिकाओं के साथ ए सागवानए आमए अशोकए अमरूदए गुलमोहरए शीसमए गमहारए जामुनएचिल्लाएअमरूदएइमलीएशीशम बीस प्रकार के फलदार व इमारती पौधों का रोपण किया। मौके पर पूनम तिवारीए सब्या सिंहए अमिता पांडेयए प्रिया रंजनी तिवारीए रीता सिन्हाए निभा कुमारीए बलंद अख्तरए सुनीता पांडेयए स्नेह सुरभिए सीमा मिश्राए संजय पालए निलेश चौबेए बबलू शर्मा आदि शिक्षक.शिक्षिकाएं शामिल थे।